How to apply for Cheque Book for Bank of India | बैंक ऑफ़ इंडिया से चेकबुक घर बैठे कैसे इशू करें


एकदम सीधा और सरल उपाय

अपने मोबाइल फ़ोन जो की आपके बैंक अकाउंट में रजिस्टर हो
उससे एक SMS भेजिए 9212304242  पर

अंग्रेजी के कैपिटल अक्षर में लिखिए
CHBS अकाउंट नम्बर ADR 

अगर चेकबुक अपने बैंक के ब्राँच में मंगवाना हो तो तो टाइप करिये

CHBS अकाउंट नम्बर BR 

नोट: अकाउंट नंबर की जगह आपका बैंक-अकाउंट नंबर लिखा जाएगा


इसके बाद आपके फ़ोन में आपके रिक्वेस्ट का मैसेज आ जायेगा

और आपकी चेकबुक 15 दिनों में आ जायेगी





झूसी की बरसात | Rain Story






आज झूसी की बरसात में घर के पास बाढ़ जैसा माहौल देख बहुत गुस्सा आ रहा था,
तभी, हमारे चिंटू की मम्मी ने बताया कि आपको अभी सब्जी लेने जाना है,
बस हमारे चहेरे की हवाइयां उड़ गयी
इतना सुनते ही तुरंत मशीन फलो में आ गयी ,
दिमाग ने अपना त्वरित कैलकुलेशन चालू किया,
सब्जी लेने बाहर जाना है,
यानी न्यायनगर मार्किट तक,
जो कि रोड के उस पार है,
मतलब पावर-हाउस तक तो जाना होगा रोड क्रॉस करने के लिए,
पूरे आठ सौ मीटर फिजूल की सरकस,
और वापसी में फिर से पावर-हाउस से क्रॉस करने की मुसीबत,
और तो और रोड पर पूरा किचकिच हुवा है, कपड़े तो जरूर गंदे होंगे,
पर चिंटू की मम्मी सीधी बात समझेगी नहीं,
क्या बोलू उसको,
आज बरसात में भी चिंटू को सेंट्रल-अकेडमी भेज दिया था उसने तो,
एग्जाम जो चल रहे हैं
और अब मुझे भी, सब्जी लेने के लिए जाना होगा
मन तो नहीं है जाने का,,
पर क्या करू ? क्या करू ??
.
तभी पीछे से चिंटू की मम्मी ने आवाज दी ,
एजी, रहने दीजिये,
इतनी बरसात में आप कहाँ जाएंगे ?
आज की सब्जी तो हो जायेगी
कल की कल देख लेंगे
बाहर बहुत पानी भरा है
पावर-हाउस तक जाके रोड क्रॉस करने में ही
पूरे कपड़े भीग जायेंगे,
चिंटू, अपने पापा को अंदर बुला लो
.
अपने मन की बात इस तरह सुन कर,
मै आवाक और स्तब्ध सा हो गया,
आँखे चिंटू की मम्मी को एकटक देखने लगी,
होठों पर शरारती मुस्कान तैर रही थी,
...मै यादों में खो गया
वो आज भी मेरी हर बात बिना बोले समझ लेती है
चिंटू की मम्मी और हमारी मुलाकात, इलाहाबाद यूनिवर्सिटी में हुवी थी
वो क्लास में आगे की बेंच में बैठती थी, होशियार जो ठहरी
और हम उसके तिकोने, पैतालीस डिग्री के सटीक एंगल पर,
जहाँ टीचर ही क्या, परिंदा भी पर न मार सके,
वो अक्सर, सवाल खत्म होने से पहले ही जवाब दे दिया करती थी,
उलटे हम, केमिस्ट्री तो पहले से ही मिस्ट्री थी हमरे लिए,
जब तक सवाल समझ में आता तब तक, दूसरे क्लास की बारी आ चुकी होती,
वो अपने बालों में लगी ब्लैक-रिबन को सही करके,
फिर अगले टीचर के साथ, रैपिड सवाल-जवाब में लग जाती,
खैर उसके चेहरे की चमक ने
हमारे पैतालीस डिग्री के तिकोने में अपनी रौशनी बिखेरनी शुरी कर दी थी,
मै अक्सर सोचता आज तो उससे बात करूंगा,
वो ये सब कैसे करती है,
ये राज पूछूंगा, पर कुछ समझ में नहीं आ रहा था
कुछ ज्ञानी दोस्तों ने सुझाव दिया की उससे उसकी कॉपी मांग लो
बोलना कुछ छूट गया है पूरा करना है,
आगे मै समझ गया था कि उससे कैसे बात करनी है
अब मुझे अगले दिन का इंतज़ार था
.
.
तभी चिंटू चिल्लाया, देख लिया मम्मी,
पापा भी इतनी बरसात में कही नहीं जाना चाहते और
हमें आज स्कूल भेजा था
कल तो कैसे भी नहीं जायेंगे,
चलो, अब रिमोट दे दो,
कार्टून देखना है